लो वोडाफोन ने आईफोन 3जी (iPhone 3G) के दाम घोषित कर दिए हैं और यह कोई दस-बारह हज़ार में नहीं मिलेगा जैसा कि लोग आस लगाए बैठे थे। इस फोन का 8जीबी (8GB) वाला वर्ज़न 31000 रुपए का मिलेगा और 16जीबी (16GB) वाला 36100 रुपए में मिलेगा। और इस फोन का स्टॉक सीमित है(असीमित कब होता है?) इसलिए जो पहले आएगा वो पहले ले जाएगा!!
द आईफोन ड्रीम.....
On 21, Aug 2008 | 11 Comments | In Mindless Rants, Technology, टेक्नॉलोजी, फ़ालतू बड़बड़ | By amit
मोबाइल पर फर्ज़ी फोन कॉल
On 18, Aug 2008 | 9 Comments | In Technology, टेक्नॉलोजी | By amit
कल जीतू भाई बताए रहे एक ऑनलाइन जुगाड़ के बारे में जिसके द्वारा आप अपने मोबाइल फोन पर फर्ज़ी कॉल करवा बॉस या बीवी की डाँट को गोली दे सकते हैं। वह ऑनलाइन जुगाड़ तो मस्त है लेकिन कुछ बातें हैं जिसके कारण उसकी सफ़लता की गारंटी नहीं है।
क्यों? इसलिए क्योंकि:
गेटमूह नामक वह सेवा प्रतिदिन कुछ मिनटों के लिए ही उपलब्ध है। यदि उनके कॉल करने के मिनट का कोटा समाप्त हो गया तो आप उसको प्रयोग नहीं कर पाएँगे।
आप एक खाते से प्रतिदिन केवल दो कॉल ही कर सकते हैं। यदि किसी बुरे दिन आप दो से अधिक बार फंस गए तो क्या करेंगे? 😉
यदि गेटमूह का सर्वर डाउन हो गया या उनको कोई और समस्या आ गई तो? आपकी भैंस तो गई पानी में फिर!! 😀
कल को गेटमूह वालों को लगा कि इस सेवा से कोई रोकड़ा नहीं बन रहा है और उन्होंने दुकान बढ़ा दी तो?
और सबसे बड़ी बात, यदि आपके पास बुरे समय में इंटरनेट कनेक्शन ही उपलब्ध न हुआ तो क्या करेंगे?
वैसे कोई खास कारण नहीं हैं लेकिन ऐसे हैं जो कभी भी पेश आ सकते हैं और आपकी बच निकलने की तमन्नाओं पर घड़ा भर पानी डाल सकते हैं। सफ़लता की संभावना तभी अधिक है जब किसी दूसरे बंदे पर निर्भर न रहा जाए, मामला अपने कंट्रोल में रहे। तो इसके लिए आपको चाहिए कि इस कार्य के लिए अपने मोबाइल में सॉफ़्टवेयर डाला जाए।
On 11, Aug 2008 | No Comments | In कतरन | By amit
जल्द ही मग्ग्ल भी हो सकेंगे अदृश्य हैरी पॉटर के माफ़िक – यह जादू होगा विज्ञान का – http://is.gd/1mwM
आईये मिलिए एक बड़े ब्लॉग चोर से
On 11, Aug 2008 | 24 Comments | In Blogging, ब्लॉगिंग | By amit
इस वर्ष के शुरु में मैंने अपनी एक ब्लॉग पोस्ट के चोरी होने के बारे में बताया था कि कैसे अपने को लेखक और पत्रकार और अध्यापक कहने वाले एक व्यक्ति ने मेरे इस ब्लॉग से एक लेख चोरी करके अपने ब्लॉग पर छापा था। अब एक और चोर ने इसी ब्लॉग से एक और लेख को चोरी कर अपने ब्लॉग पर अपने नाम से छापा है।
यह कोई मामूली छोटा मोटा चोर नहीं है, वरन् ऊँचे दर्जे का चोर है। यह व्यक्ति पिछले चोर से भी ऊँचे दर्जे का चोर है। इस वर्ष 6 अप्रैल को मैंने यहाँ इस ब्लॉग पर एक लेख लिखा था इंटेक्स के एक नए फोन के बारे में बताने के लिए – 25 दिन चलती है इस मोबाइल फोन की बैट्री। इस लेख को इस चोर ने अपने ब्लॉग “May I Help You” पर जस का तस चोरी करके यहाँ छाप दिया।
सरकारी समझदारी.....
On 07, Aug 2008 | 8 Comments | In Here & There, Mindless Rants, इधर उधर की, फ़ालतू बड़बड़ | By amit
कल अख़बार पढ़ रहा था(बहुत ही दुर्लभ दिन था) तो हिन्दुस्तान टाइम्स के मुख्य पृष्ठ पर सबसे नीचे छपी खबर पर नज़र गई जिसे खेल उप-संपादक इंद्रानिल दास ने लिखा था। उसमें बताया कि परसों जब वे ओलंपिक्स को कवर करने पेइचिन्ग (Beijing) जा रहे थे तो एक तो दिल्ली के इंदिरा गांधी हवाई अड्डे पर बोर्डिंग देर से हुई। दूसरे, उनके कैबिन बैगेज (cabin baggage) को विमान में चढ़ने से पहले पुनः स्कैन किया गया। खबर उन तक पहुँची कि पश्चिमी चीन में आतंकवादी हमला हुआ है, इसलिए वह स्कैन तो समझ आया। लेकिन एयर चाईना (Air China) के उस विमान में बाद में घोषणा हुई कि उड़ान के दौरान सुरक्षा कारणों की वजह से यात्रियों को मदिरा नहीं सर्व की जाएगी। और सुरक्षा कारणों के ही चलते उनको सुबह का नाश्ता भी नहीं दिया गया क्योंकि वह उन्होंने दिल्ली हवाई अड्डे से लिया ही नहीं!!
एक ग्लोबल सिटिज़न मीडिया सम्मिट - भाग १
On 05, Aug 2008 | 3 Comments | In Blogging, ब्लॉगिंग | By amit
हुम्म, ग्लोबल वॉयसिस की सालाना सम्मिट इस साल बुडापेस्ट में हुई। ग्लोबल वॉयसिस पर एक लेखक होने की हैसियत के कारण न्यौता अपने को भी था इसलिए आनन फानन पॉसपोर्ट बनवा के अपन भी पहुँच गए। 😀 बाकी का किस्सा बाद में बताया जाएगा, फिलहाल तो रील को फास्ट फॉरवर्ड कर सम्मिट का हाल बाँचते हैं।
तो ग्लोबल वॉयसिस की सम्मिट इस साल पूर्वी योरोपीय देश हंगरी (Hungary) की राजधानी बुडापेस्ट (Budapest) में थी। सम्मिट के लिए पेस्ट (Pest) में स्थित होटल नोवोटेल सेन्ट्रम (Novotel Centrum) में दो कॉन्फ्रेन्स हॉल बुक करवाए गए थे। रहने का बन्दोबस्त दो होटलों में था, कुछ के लिए कमरे नोवोटेल में ही मिल गए और बाकियों को दो ट्राम स्टॉप दूर ईज़ी होटल (Easy Hotel) में ठेल दिया गया। मेरा कमरा भी ईज़ी होटल में ही था। शुक्रवार 27 जून को सुबह साढ़े नौ बजे(स्थानीय समय) पर सम्मिट का शुभारंभ होना था पर मैं 10 मिनट लेट हो गया। गर्मी में पसीना बहाते नोवोटेल में पहली मंज़िल पर स्थित कॉन्फ्रेन्स हॉल के बाहर पहुँचा तो देखा काफ़ी भीड़ सी थी, रजिस्ट्रेशन डेस्क पर मैनेजिंग एडिटर साहिबा, सोलाना “सोलानासॉरस” लारसन, कमान संभाले हुए थी। उनसे परिचय हुआ, अपने नाम का तैयार रखा बिल्ला और ग्लोबल वॉयसिस की टीशर्ट ली तथा दोनो दिन के प्रोग्राम की सूचि की एक प्रति संभाली और कॉन्फ्रेन्स हॉल की ओर बढ़ गया।
अभी ना जाओ छोड़ कर.....
On 01, Aug 2008 | 13 Comments | In Music, संगीत | By amit
कल 31 जुलाई 2008 को प्रसिद्ध गायक मोहम्मद रफ़ी साहब की 28वीं पुण्यतिथि थी। रफ़ी साहब वैसे तो कहीं नहीं गए, अपने गीतों के रुप में अपनी कभी न मिटने वाली यादें छोड़ गए हैं लेकिन फिर भी कल टीवी चैनलों को उनकी कुछ याद आ ही गई। 😉
वैसे तो रफ़ी साहब ने हर तरह के गाने सफ़लता पूर्वक गाए, चाहे वो शम्मी कपूर की जंगली हरकतों(फिल्म में) पर फिल्माया गया हो या देव आनंद और साधना पर एक बाग में फिल्माया गया हो, लेकिन ज़ाती तौर पर मुझे तो शांत और मेलोडियस (melodious) गाने ही पसंद हैं, शोर शराबे वाले गाने अपने को नहीं भाते खास। 🙂
द नॉट सो कूल
On 31, Jul 2008 | 5 Comments | In Here & There, Technology, इधर उधर की, टेक्नॉलोजी | By amit
एक नया सर्च इंजन मैदान में आया है, बोला जाता है कूल (Cool) और लिखा जाता है Cuil जो कि आईरिश (Irish) से लिया गया शब्द है। यह नया सर्च इंजन दुनिया में सबसे बड़ा सर्च इंडेक्स होने का दावा करता है और यह भी दावा करता है कि इसका डाटाबेस गूगल से लगभग तीन गुणा बड़ा है। इस नए शगूफ़े के पीछे हैं एन्ना पैटरसन (Anna Patterson) जो कि प्रसिद्ध अमेरिकी विश्वविद्यालय स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी (Stanford University) में रिसर्च साइंटिस्ट हुआ करती थीं जब इन्होंने एक ऐसी तकनीक बनाई जिससे कम समय में अधिक वेब पेज क्रॉल (Crawl) किए जा सकते थे और उनकी रैंकिंग की जा सकती थी, और जिस तकनीक को बाद में गूगल ने अपने सर्च इंजन के लिए इनसे खरीद लिया और इनको अपने यहाँ मुलाज़मत दी जहाँ इन्होंने दो वर्ष आर्कीटेक्चर (architecture) और रैंकिंग पर काम किया।
On 30, Jul 2008 | 6 Comments | In Blogging, कतरन, ब्लॉगिंग | By amit
1000 डॉलर का नकद पुरस्कार जीता अहमदाबाद स्थित आईबीएनएमएस (IBNMS) मेम्बर ब्लॉगर फेलीशिया मॉयर्स ने ब्लॉग लेखन प्रतियोगिता में – पूरी खबर यहाँ पढ़ें :tup:
द डार्क नाइट
कॉमिक्स पढ़ने वालों, कार्टून अथवा फिल्में आदि देखने वालों में कदाचित् ही ऐसा कोई होगा जिसने बॉब केन (Bob Cane) के प्रसिद्ध शाहकार बैटमैन (Batman) के बारे में न पढ़ा/सुना हो। सुपर हीरो बिरादरी में बहुत ही कम इक्के-दुक्के ऐसे सुपर हीरो हैं जिनके पास कोई सुपर पॉवर नहीं है और बैटमैन उनमें से एक है। यह सुपर हीरो अपनी शारीरिक शक्ति, हाथों की लड़ाई की दक्षता, अपने तेज़ दिमाग और वैज्ञानिक उपकरणों की सहायता से अपराध और अपराधियों के दिलो दिमाग पर हौव्वा बनता है। यही कारण है कि सुपर हीरो जमात में यह मेरा सबसे अधिक मनपसंद सुपर हीरो है। 🙂 :tup: